SUSPENSE से भरपूर यह सीरीज आपको स्क्रीन से चिपका कर रखेगी और इसके ट्विस्ट एंड टर्न से आप रोमांचित हो उठेंगे
Introduction / परिचय
आपने kaala Pani का नाम अपने जीवन में एक बार तो ज़रूर सुना होगा और आप इतना जानते होंगे की काला पानी एक ऐसी जेल है जहां से भागना मुश्किल है और वहाँ पर बहुत संगीन मुजरिमों को रखा जाता था। तो सवाल ये है कि क्या इस सीरीज में वही दिखया गया है तो जवाब है नहीं। यह सीरीज काला पानी जिस जगह पर बना है उस जगह की ये कहानी है जिसका नाम अंडमान और निकोबार है जो भारत का ही हिस्सा है पर भारत से बहूत दूर। इस सीरीज में दिखाया गया है कि अंडमान और निकोबार के पूरे द्वीप में एक तरह का जानलेवा वायरस फैल जाता है जिसके कारड़ उस जगह पर लोंग मरने लगते है। पर उस जगह पर रहने वाले आदिवासी लोग जिन्हे इस सीरीज में ओराका बुलाया गया है उन्हे कुछ नहीं होता और जब यह बात पुलिस वालो और नेताओ को पता चलती है तो वह यह जानने के लिए उनके पीछे पड़ जाते है। इस सीरीज के निर्देशक अमित गोलानी और समीर सक्सैना है और लेखक बिस्वापति सरकार और अमित गोलनी जी है। यह सीरीज कुछ कुछ आपको Netflix कि एक बहुत अच्छी सीरीज All of us are Dead कि याद दिलायेगी यदि आपने देख रक्खी होगी तो बस फर्क सिर्फ इतना है कि इसमे जोम्बी नहीं है। इस सीरीज को अब तक IMDb पर 8.1/10 कि रेटिंग मिली है 1.7K लोंगों द्वारा।
Kaala Paani Web Series Story Line / काला पानी सीरीज की कहानी
इस सीरीज में कोई एक मुख्य किरदार नहीं है बल्कि कई मुख्य किरदार है क्योंकि इस सीरीज में कई लोंगों कि कहानी को बराबर मात्रा में दिखाया गया है ताकि प्रतेक इंसान कि तकलीफ़ों के बारे में बताया जा सके कि कैसे वे सभी लोग वातावरण में वायरस फैल जाने के कारड़ प्रभावित है।
एक व्यक्ति जिसका नाम Saurabh Wani है वह एक बहुत बड़ा व्यापारी है और उसने इस आइलैंड पर बहुत डेव्लपमेंट कराई है और अब वह स्वराज महोत्सव नाम का एक मेला आयोजित करना चाहता है जिसके लिए उसे इस छेत्र के CMO यानि Chief Medical Officer से स्वीकृति चाहिये और वह इस कार्य कि ज़िम्मेदारी ACP केतन को देता है जो उसके दोस्त जैसा है। CMO इस पर स्वीकृति नहीं देती है क्योंकि हॉस्पिटल में कुछ ऐसे मरीज़ भर्ती हुए होते है जिनकी बीमारी पकड़ में नहीं आ रही थी और वह इस बीमारी को लेके बहुत चिंतित थी क्योंकि यह संक्रमित बीमारी थी और यह बीमारी और न फैले इसके लिए वह इस महोत्सव में होने वाली भीड़ को रोकना चाह रही थी जिसके लिए वह इस महोत्सव कि स्वीकृति नहीं दे थी फिर इसके बाद एक मीटिंग होती है जिसमे ACP केतन और Admiral Zibran Qadri होते है वे CMO डॉ. सौदामिनी से कई सारे सवाल पूछते है। उसके बाद वे इस नतीजे पे पहुँचते है की इस महोत्सव को होना चाहिये। तो फिर वह CMO आधे मन से इस महोत्सव की स्वीकृति दे देती है और साइन कर देती है।
इस वक्त अण्डमान और निकोबार द्वीपसमूह में बहुत लोंग घूमने आते है। उन्ही में से एक परिवार भी वहाँ घूमने आता है जिसमे माता पिता और उनके दो बच्चे होते है एक बड़ा लड़का और एक छोटी लड़की। उनका परिवार बहुत जगह घूमता है पर एक जगह जहाँ पर उनके माता पिता के जाने का मन होता है पर उनके बच्चो का नहीं तो वे एक दिन के लिए अपने बच्चो को छोड़ कर नील आइलैंड घूमने के लिये जाते है। उनको सारी जगह घुमाने वाले लड़के का नाम चिरंजीव होता है।
दूसरी तरफ डॉ सौदामिनी उस बीमारी कि जड़ तक पहुँचने के लिए पूरी मेहनत करती है और उस जगह पर पहुँच जाती है जहाँ से इस बीमारी कि शुरूआत हुई है यानि कि वह उस गाँव में चली जाती है जहाँ के लोंग सबसे पहले इस बीमारी का शिकार हुए थे और उसी जगह के लोग अस्पताल में भर्ती हुये थे। वहाँ जाकर उन्हे पता चलता है कि उस जगह पर सभी लोग मर गये है और उसे यह पता चलता है की इस बीमारी कि वजह यहाँ का पानी है जो सप्लाइ से लोंगों के घरो तक जा रहा है और जब वह यह जानकार हासिल करने के बाद लौट रही होती है तो उसका एक पैर नकली होने कारड़ वह लड़खड़ा जा जाती है जिससे उसका सर अक पत्थर से टकरा जाता है जिससे उसकि मृत्यु हो जाती है। जब इसकी खबर अस्पताल के लोंगों तक पहुँचती है तो सभी को एक झटका लगता है और यह जानकरी उसके साथ चली जाती है पर वह रिसर्चर डॉ. गार्गी भी इसके बारे में बहुत जानकारी हासिल करती है जिससे उसके पास भी इस बिमारी से संबन्धित काफी जानकारी हासिल हो जाती है और जब वह यह जानकारी सभी ऊचे अधिकारी को बताती है तो वह तुरंत हरकत में आ जाते है और पूरे एरिया में lockdown लगा देते है और इस बीमारी कि रैपिड टेस्टिंग शुरू कर देते है ताकि यह पता लगाया जा सके कि कौन संक्रमित है और कौन नहीं।
स्वराज महोत्सव में गये हुए लोंगों पर भी इसकी टेस्टिंग करी जाने वाली होती है जिसके लिए उनमे से कुछ लोंगों को मौका पाकर एक जगह बंद कर दिया जाता है ताकि वायरस और न फैले यह सारी बात आम जनता से छुपाई जाती है कि ऐसा कोई वायरस है जिसकी वजह से जान जा रही है वे ऐसा इसलिए करते है ताकि लोग पैनिक न हो। पर लोग फिर भी करते है और उस जगह को तोड़ कर बाहर निकल आते है और उसी जगह पर ACP केतन और सौरभ वाणी और उसकी पत्नी भी होते है तो ACP केतन उन्हे हालात कि गंभीरता बता देता है और वे पीछे के दरवाजे से बाहर निकल आते है और एयरपोर्ट चले जाते है पर वह आखिरी प्लेन भी उस एयरपोर्ट पर लैंड नहीं करता जिससे उनकी इस जगह से निकलने कि आखिरी उम्मीद भी खत्म हो जाती है।
महोत्सव में वो बच्चे भी फस जाते है जिनकी मदद ज्योत्सना नाम कि एक लड़की करती है जो एक नर्स होती है वह उन बच्चो लेके एक बूढ़े व्यक्ति के घर जाती है ताकि वह सुरक्षित रहे पर इसके बावजूद भी उनमे से एक बच्चे को वह वायरस अपने कब्जे में कर लेता है और वह मर जाता है पर उसकी छोटी बहन बच जाती है जिसको लेके ज्योत्सना आगे बढ़ जाती है। वह व्यक्ति जिसका यह घर होता है वह उस लड़के के साथ आखिरी वक्त तक साथ रहता है।
रिसरचर डॉ गार्गी इस बीमारी का इलाज़ ढुढ़ लेती है पर उसके लिए उन्हे एक पौधे कि ज़रूरत थी पर जब वो वहाँ पौधे को ढूढूंते हुये उस जगह पर पहुँचती है तो उन्हे केवल खाली जमीन के अलावा कुछ नहीं मिलता।
अण्डमान और निकोबार द्वीपसमूह में आदिवासी लोग रहते है जिन्हे ओराका कहते है और उनपे इस वायरस का कोई असर नहीं होता है और जब इसकी जानकारी वहाँ के पुलिस वाले और बाकी सबको पता चलती है तो वे उन्ही ओरका में से एक को उठा लाते है और उसपे जाँच करते है और पता चलता है कि उनके शरीर में वो चीज़ पहले से ही मौजूद है जो उन्हे उस पौधे से चाहिये तो वे उसके शरीर वे चीज़ निकाल कार सौरभ वाणी कि पत्नी को बचाने के लिए इस्तेमाल करते है पर इसमे एक खतरा था कि वह चीज़ निकालने से उस ओराका कि जान भी जा सकती है पर वह इसके लिए मान जाता है फिर तभी वहाँ पर चिरंजीव आ जाता है ये वही व्यक्ति होता है जो उस फॅमिली को पूरा आइलैंड घूमाता है। वह आधा ओरका और आधा नॉर्मल था तो वह उसके जान के बदले अपनी जान देने के लिये तैयार हो जाता है क्योंकि उसकी वजह से वह ओरका पकड़ा गया था और उसने बहुत बुरे काम किये थे तो वह यह काम करके अपने पापो का प्रायशचित करना चाह राह होता है। उसके शरीर से वह चीज़ निकाल ली जाती है पर वह मरता नहीं है बस मरते मरते बच जाता है।
दूसरी तरफ उसके माँ बाप में से माँ संक्रमित हो जाती है और मर जाती है जिससे उसका पति टूट जाता है और अपने बच्चो के पास जाने के लिए अपनी पूरी जान कि बाजी लगा देता है। वह अपने बच्चो तक पहुँचता तो है पर उसे पता चलता है कि उसका बेटा भी नहीं रहा जिससे उसका दिल पसीज जाता है।
अस्पताल में डॉ गार्गी ज्योत्सना से मिलती है वह उसे बताती है कि तुम जिस पौधे को ढुढ़ रही हो वह तुम्हें एक और जगह मिल सकता है पर वह बताती है कि मैं ऐसे तो नहीं बता सकती मुझे उसके लिए एक डाइरी लगेगी तो वह उसको एक जगह पर पहुँचने के लिए बोलती है और कहती है कि तुम वहाँ पहूँचो मैं आ जाऊँगी।
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Saurabh Wani किसी भी हाल में यहाँ से निकलना चाह राह होता है तो उसके दिमाग में एक प्लान आता है जिसे ACP केतन इस प्लान को अच्छे से सम्पन्न करने में मदद करता है। Saurabh Wani बहुत पहले ही एक आइलैंड खरीद कर रख लेता है और उसका प्लान था कि पानी के रास्ते जहाज से एक शिपिंग कंटेनर में बैठ कर उस आईलैंड तक पहूँचा जाये पर ऐसा नहीं हो सका तब ACP केतन उन्हे दूसरा प्लान बताता है वास्तव यह पहला प्लान भी इसी प्लान का हिस्सा होता है तब Admiral Qadi वाणी कहते है तुम यहाँ से जा सकते हो पर तुम्हें यहाँ से 5 हजार स्वस्थ लोंगों को ले जाना होगा और इसके लिए वह मान जाता है तो फिर सभी कि जाँच होती है और सभी स्वस्थ लोंगों को जहाज में चढ़ा दिया जाता है पर जाँच में नेगेटिव निकलने के बावजूद भी उस व्यक्ति कि छोटी बच्ची थोड़ी देर बाद पॉज़िटिव पायी जाती है और जब यह बात ज्योत्सना को पता चलती है तो वह यह बात अधिकारियों को बताने जा रही होती है पर उसका पिता उसको ऐसा करने से मना करता है पर वह इस चीज़ के सख्त खिलाफ होती है। उसका पिता उसे रोकने कि बहुत कोशिश करता है पर वह नहीं रुकती तब उसका पिता उसका मुह दबा कर उसको मार देता है और फिर वह अपनी बच्ची के साथ जहाज पर बैठ जाता है।
गार्गी उस जगह पर पहूँच कर ज्योतसना को फोन करती है पर वह उसे नहीं बता पाती तब वह एक बोट कि मदद से एक व्यक्ति के निर्देश से उस जगह पर चली जाती है। यह वही व्यक्ति होता है जिसके घर ज्योत्सना रुकती है। Saurabh Wani गार्गी को अपने साथ उस नये आइलैंड पर ले जाने के लिए ACP केतन को बोलता है पर वह ऐसा नहीं कर पाता क्योंकि वह उससे प्यार करने लगता है जिसका उसको बहुत अफसोस होता है क्योंकि वह ऐसा नहीं था जिसको किसी कि बात का फर्क पड़े। दूसरी तरफ उसके पिता अपनी बच्ची को लेके जहाज पर चड़ जाते है।
बड़े अधिकारियों को पता चलता है कि ओराका के शरीर से वह चीज़ निकाल कर लोंगों कि जान बचाई जा सकती है तो वह ओरका के जान के बदले लोंगों कि जान बचाने का गंभीर फैसला ले लेते है और फॉरेस्ट पुलिस को उनको पकड़ने के लिये भेज देते है पर यह चाल उन पर उल्टी पड़ जाती है और ओराका उनपे हमला बोल देते है क्योंकि उनको इस सब का पहले ही आभास था।
My Thoughts on Kaala Paani Seires / काला पानी पर मेरे विचार
Positive Point
Netflix द्वारा बनाई गयी यह सीरीज पूरी तरह से अपना काम करने में सफल हुई है। इसका काम था सीरीज से दर्शको को बांधे रखना और मनोरंजन प्रदान करना जो यह करने में पूरी तरह से सफल हुई है। यह सीरीज धीरे धीरे शुरू होती है और इतना अच्छा सस्पेन्स बनाती है कि आप इस सीरीज को Binge Watch करने पर मजबूर हो जायेंगे। यह सीरीज Netflix पर देखि गयी मेंरी सबसे अच्छी सीरीज में से एक कि लिस्ट में आ गयी है। इस सीरीज का पहला एपिसोड हो सकता है आपको स्लो लगे क्योंकि उस एपिसोड में सभी का परिचय होता है कि कौन कौन इस सीरीज में है पर ऐसा करना बहुत ज़रूरी है ताकि आप किरदारो से जुड़ सके। Netflix का पैसा और मकेर्स के स्टोरी राइटिंग ने इस सीरीज को लाजवाब बना दिया है। यह सीरीज वास्तव में अण्डमान और निकोबार द्वीपसमूह पर फिल्मायी गयी है या नहीं ये तो नहीं पता पर यह सीरीज एक आइलैंड पर ज़रूर फिल्मायी गयी है यह पता है जो इस सीरीज को विश्वासजनक बनाने का काम करता है। और यंही पर यदि ये सब ग्रीन स्क्रीन पर शूट होता तो स्टोरी भले ही यही रहती पर सीरीज विश्वासजनक ना रहती और इससे दर्शक सीरीज से उतना अच्छी तरह से जुड़ ना पाते। सीरीज के सीन इतने खूबसूरत है देखने में आनद आ जाता है। सीरीज कि स्टोरी में इतने ज़्यादा ट्विस्ट एंड टर्न आते है कि इसे आप बिलकुल भी गैस नहीं कर सकते जो इस सीरीज का प्लस पॉइंट है। सीरीज में कंही भी ऐसा नहीं लगता कि ऐसा तो हो ही नहीं सकता सीरीज पूरी तरह से विशवासजनक लगती है जिससे आप इससे बंधे रहते है।
यह सीरीज कई जगह पर सीख भी देती है जिसे देख के बहुत अच्छा लगा जैसे जरूरत पड़ने पर कुछ भी करना पड़ सकता है और इंसान का व्यवहार वो चिज़े इसलिए करना है क्योंकि वह दूसरे का नुकसान करना चाहता है बल्कि वह इसलिए करता है क्योंकि उसमे उसका लाभ है और वह वो चीज़ कर सकता है और व्यक्ति चाहे जितना बुरा हो पर प्यार आगे वह हार मान ही लेता है।
Negative Point
हर सीरीज या मूवी कि तरह इस सीरीज में भी कुछ कमिया रह गयी जैसे कहते है कोई भी चीज़ एक दम सही नहीं होती बस वैसे ही। पहले तो ये कमी स्टोरी में कंही नहीं है कमी रह जाती है तो बस डीटेलिंग में चीज़ों कि बहुत मामूली सी बारीकियो पे। वो परिवार जो छुट्टियाँ मनाने अण्डमान और निकोबार द्वीपसमूह आता है उसमे जो उसकी पत्नी होती है वह बंगाली होती है पर उसका बोल में एकसेंट बंगाली वाला ना होके बिहारी वाला होता है और दूसरा सीरीज में बहुत जगह चीज़ों को दिखाया ही नहीं गया है बहुत बस बता दिया गया है वह चीज़ हो गयी है या सीन से दूसरे सीन में जंप इतना ज्यादा लगता है कि मालूम होता है कि बीच में कुछ मिस हो गया है क्या। और ऐसा सीरीज में कई बार होता है जैसे एक सीन है जहां पर चीरू और ओरका और उसकी माँ के साथ काम करने वाला एक आदमी होता है पर अगले ही सीन में वह एक गढ़ी में बैठ कर कंही जा रहे होते है। उसके बीच में क्या हुआ कैसे हुआ कुछ भी नहीं दिखाया जाता कि वो वहाँ कैसे गए कहाँ जा रहे है क्यों जा रहे है। मुझे लगता है मकेर्स ने इसे एंगेजिंग बनाने और सीरीज को छोटा रखने के लिए ऐसा किया है और इससे सीरीज में केवल 7 एपिसोड है। इसके अतिरिक्त सीरीज में कोई कमी नहीं लगी।
Kaala Paani Web Series Cast / काला पानी के किरदार
सीरीज में हर एक एक्टर को चुन चुन कर लिया गया है और सभी कि एक्टिंग एक नंबर है जो देखते ही बनती है और सीरीज में इन्ही किरदारो ने जानफूकी है। सभी का काम एक दम बढ़िया है।
मुझे सबसे अच्छी एक्टिंग ACP केतन का किरदार निभाने वाले एक्टर Amey Wagh कि लगी क्योंकि वो इस नेगेटिव किरदार में बखूबी जचते है और एक बिलकुल शुद्ध विलेन के रूप में निखर के आते है। आपने इससे पहले उन्हे Asur सीरीज में देखा होगा और उसमे भी वो नेगेटिव किरदार में नज़र आए है।
इसके अतिरिक्त ज्योत्सना का किरदार निभाने वाली एक्टर आरुषि शर्मा ने भी बहुत अच्छी एक्टिंग करी है खास कर रोने कि एक्टिंग तो बहुत अच्छी करी है। आपने इन्हे इससे पहले Love Ajj kal 2 और Rakshabandhan फिल्म में देखा होगा।
Sukant Goel as Chiranjeevi
Mona Singh as Dr. Soudamini Singh
Radhika Mehrotra as Ritu Gagra
Arushi Sharma as Jyotsana Dey
Ashutosh Gowariker as Admiral Zibran Qadri
Amey Wagh as ACP Ketan Kamat
Vikas Kumar as Santosh
Chinmay Mandlekar as Dr. Shashi Mahajan
Jagdish Rajpurohit as Chief Secretary Bhowmik
Parag Chadha as Prabhjyot
Aradhya Ajana as Kaddu
Poornima Indrajith as Swasti Shaw ( Saurabh Wani Wife)
Rajesh Khattar as Saurabh Wani
Mahadev Singh Lakhawat as Pundi
Veenah Naair as Parvathy Amma
Veerendra Saxena as Basu
Sarika Singh as Santosh Wife (A family came to Island to wondering)
Desire Junior Binde as Enmae ( One of oraka who they caught them)
Hi, my name is Sandeep Vishwas and I am from India.
I love giving movie suggestions to people. I feel that if something is good, it should reach other people, it should not be confined to itself.